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चतुर चूहे और घमंडी सांप की कहानी
एक समय की बात है, एक घने जंगल में एक पुराना बरगद का पेड़ था। इस पेड़ की जड़ों में एक बड़ा सा बिल था, जहाँ चूहों का एक बड़ा परिवार रहता था। इन चूहों का मुखिया था चिंटू, जो बहुत ही चतुर और समझदार था।
उसी पेड़ की एक मोटी डाल पर रहता था एक काला नागराज कालिया। कालिया बहुत ही घमंडी और क्रूर था। वह रोज़ाना चूहों को डराता रहता और कभी-कभी उन्हें अपना शिकार भी बना लेता था।
एक दिन कालिया ने चूहों से कहा, “अरे छोटे चूहों! तुम सब मेरे राज्य में रहते हो। अब से तुम्हें हर दिन मुझे एक चूहा भेंट के रूप में देना होगा, वरना मैं तुम सबको खा जाऊंगा।”
यह सुनकर सभी चूहे डर गए। छोटे-छोटे चूहे रोने लगे। माँ चूहियाँ अपने बच्चों को छुपाने लगीं। लेकिन चिंटू शांत रहा और सोचने लगा।
अगले दिन से कालिया का अत्याचार शुरू हो गया। रोज़ाना एक चूहा उसका शिकार बनता। चूहों की संख्या कम होती जा रही थी। सभी चूहे परेशान थे, लेकिन कालिया के डर से कुछ नहीं कह पा रहे थे।
एक दिन चिंटू ने सभी चूहों को इकट्ठा किया और कहा, “मित्रों, हमें इस सांप के अत्याचार से मुक्ति पानी होगी। मैंने एक योजना बनाई है।”
चिंटू ने अपनी योजना सबको बताई। अगले दिन जब कालिया सो रहा था, तो सभी चूहे मिलकर उसके चारों ओर एक जाल बिछाने लगे। उन्होंने बारीक रस्सियों से एक मजबूत जाल बनाया।
जब कालिया जागा और शिकार की तलाश में नीचे आया, तो वह उस जाल में फंस गया। वह जितना छटपटाता, उतना ही जाल में और फंसता जाता।
“अरे चूहों! मुझे छोड़ दो। मैं वादा करता हूँ कि अब कभी तुम्हें परेशान नहीं करूंगा,” कालिया चिल्लाया।
चिंटू ने कहा, “कालिया, तुमने हमारे साथ बहुत अन्याय किया है। लेकिन हम तुम्हारी तरह क्रूर नहीं हैं। हम तुम्हें छोड़ देंगे, लेकिन एक शर्त पर।”
“क्या शर्त है?” कालिया ने पूछा।
“तुम्हें इस जंगल को छोड़कर कहीं और जाना होगा। और हाँ, याद रखना – एकता में शक्ति होती है। हम छोटे हैं, लेकिन मिलकर तुम जैसे बड़े दुश्मन को भी हरा सकते हैं।”
कालिया को अपनी गलती का एहसास हुआ। उसने माफी मांगी और वादा किया कि वह कभी किसी कमजोर पर अत्याचार नहीं करेगा। चूहों ने उसे छोड़ दिया और कालिया वहाँ से चला गया।
उस दिन के बाद से चूहे खुशी-खुशी अपने बिल में रहने लगे। चिंटू की बुद्धिमानी और सभी चूहों की एकता ने उन्हें विजय दिलाई थी।
नैतिक शिक्षा: इस कहानी से हमें यह सीख मिलती है कि घमंड का अंत बुरा होता है। साथ ही, एकता में बहुत शक्ति होती है। छोटे से छोटा व्यक्ति भी अगर दूसरों के साथ मिलकर काम करे तो बड़े से बड़े संकट का सामना कर सकता है। बुद्धि और एकता के सामने ताकत भी हार जाती है।
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